- जिन जनपदों में ग्रैप 4 लागू है, वहां गाइड लाइंस का सख्ती से कराया जाये अनुपालन
- वायु प्रदूषण पर रोकथाम के उपलब्ध उपकरणों एवं संसाधनों का पूरी क्षमता के साथ उपयोग किया जाये
- एनसीआर के जनपद विशेष रूप से सतर्क रहें
- पराली जलने की घटनाओं पर सख्ती से अंकुश लगाया जाए
लखनऊ: मुख्य सचिव ने वायु प्रदूषण को लेकर वीडियो कांफ्रेंसिंग के माध्यम से सभी मंडलायुक्तों एवं जिलाधिकारियों के साथ बैठक कर कड़े निर्देश दिए हैं।
अपने संबोधन में मुख्य सचिव ने कहा कि जिन जनपदों में ग्रैप 4 लागू किया गया है, वहां जारी गाइड लाइंस का सख्ती से अनुपालन कराया जाए। जिन निर्माण कार्यों को छूट प्रदान की गई हैं उन्हें छोड़कर कंस्ट्रक्शन के सभी कार्यों को तत्काल प्रभाव से बंद करा दिया जाए। वायु प्रदूषण पर रोकथाम के उपलब्ध उपकरणों एवं संसाधनों का पूरी क्षमता के साथ उपयोग किया जाए। पब्लिक ट्रांसपोर्ट के उपयोग के लिए लोगों को जागरूक किया जाए। हॉट मिक्स प्लांट, क्रशर, वायु प्रदूषण कारक उद्योग कार्य न करें। एनसीआर के जनपदों को विशेष रूप से सतर्क रहने की जरूरत है।
उन्होंने कहा कि सभी जनपदों में पराली जलने की घटनाओं पर सख्ती से अंकुश लगाया जाए। आईईसी एक्टिविटी अनवरत रूप से जारी रहें। पराली या कूड़ा जलाने वाले व्यक्तियों पर अर्थदंड लगाएं। पराली को गौ आश्रय स्थलों को दान करा सकते हैं। इसके अलावा पराली की आपूर्ति सीबीजी प्लांट को भी करा सकते हैं, इससे किसानों की आय में वृद्धि होगी। गन्ने की पराली जलने की घटनाएं को भी प्रभावी रूप से रोका जाए। जिन क्षेत्रों में पराली जलने की घटनाएं हो रही हैं, वहां संबंधित अधिकारियों व कर्मचारियों पर भी कार्यवाही करें।
इस अवसर पर अपर मुख्य सचिव कृषि देवेश चतुर्वेदी, सचिव कृषि राज शेखर सहित अन्य वरिष्ठ अधिकारीगण उपस्थित थे।
- नैमिष प्रताप सिंह